सुशील कुमार को प्रेरणा माना, छत्रसाल स्टेडियम ट्रेनिंग की
अपने गुरु को ही हराकर पाया ओलंपिक का टिकट
16 साल में जीता एशियाई कैडेट चैंपियनशिप
अमन के कुश्ती करियर की बात करें तो वो नूर-सुल्तान में 2019 एशियाई कैडेट चैंपियनशिप में स्वर्ण जीतकर अपना लोहा मनवाया था। इसके दो साल बाद उन्होंने पहली बार राष्ट्रीय चैंपियनशिप जीती थी। अमन 2022 में अंडर-23 विश्व चैंपियनशिप में स्वर्ण जीतने वाले पहले भारतीय बने थे। अमन ने साल 2023 में भी शानदार प्रदर्शन किया था। उन्होंने अस्ताना में एशियाई चैंपियनशिप में स्वर्ण और साथ ही हांग्जो एशियाई खेलों में कांस्य पदक जीता था।
‘अगर यह आसान होता तो हर कोई इसे कर लेता’
इतना ही नहीं अमन सहरावत के कमरे की एक तस्वीर भी सोशल मीडिया पर खूब वायरल है.ये तस्वीर है अमन के कमरे की दीवार की जहांपर लिखा हुआ है कि अगर यह आसान होता तो हर कोई इसे कर लेता। इसके साथ ही वहां पर ओलंपिक का साइन और गोल्ड मेडल की तस्वीर लगी हुई है। देश के लाल ने 21 साल की उम्र में वो कर दिखाया जो हर कोई नहीं कर सकता। आशा है कि देश के लिए 2028 में अमन के पदक का रंग बदले और सोने जैसा चमचमाए।
