दक्षिण भारत के केरल की हाईप्रोफाईल सीट वायनाड लोकसभा सीट राहुल गांधी के इस्तीफे के बाद खाली हुई थी। अब इस सीट पर होने वाले उप-चुनाव में कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी पार्टी की उम्मीदवार होंगी। यह पहला मौका है जब प्रियंका गांधी चुनाव मैदान में उतर रहीं हैं। अभी तक वो पार्टी से मिली जिम्मेदारियों को ही संभालती रही हैं, लेकिन अब उन्होंने चुनावी राजनीति में कदम रख दिया है। कांग्रेस चीफ मल्लिकार्जुन खरगे ने कुछ दिनों पहले ऐलान किया था कि वायनाड से पार्टी प्रियंका गांधी पर दांव आजमा सकती हैं।
उपचुनाव की घोषणा के बाद कांग्रेस ने किया प्रत्याशियों का एलान
कांग्रेस ने ये ऐलान निर्वाचन आयोग के वायनाड सीट पर उपचुनाव की घोषणा के बाद किया है। इसके साथ-साथ कांग्रेस पार्टी ने केरल की चेलक्करा विधानसभा सीट पर होने वाले उपचुनाव के लिए राम्या हरिदास और पलक्कड़ सीट के लिए राहुल ममकूटथि को उम्मीदवार घोषित किया है। कांग्रेस ने इस बारे में अपने आधिकारिक सोशल मीडिया हैंडल एक्स पर दी है। वायनाड सीट पर उपचुनाव के लिए 13 नवंबर को वोटिंग होगी जबकि नतीजे 23 नवंबर को सामने आएंगे।
The Congress President, Shri Mallikarjun Kharge, has approved the proposal to nominate the following members as party candidates for the bye-elections to the Lok Sabha and Legislative Assembly from Kerala: pic.twitter.com/aWbQzrNq3i
— INC Sandesh (@INCSandesh) October 15, 2024
रायबरेली जीतने के बाद राहुल ने छोड़ी थी वायनाड सीट
दरअसल लोकसभा चुनाव 2024 में राहुल गांधी ने वायनाड और यूपी की रायबरेली लोकसभा सीट से जीत हासिल की थी। उन्होंने गांधी परिवार की पारंपरिक रायबरेली सीट को चुना था और वायनाड छोड़ी थी। 17 जून को वायनाड सीट छोड़ते वक्त राहुल ने कहा था- वायनाड और रायबरेली से मेरा भावनात्मक रिश्ता है। मैं पिछले 5 साल से वायनाड से सांसद था। मैं लोगों को उनके प्यार और समर्थन के लिए धन्यवाद देता हूं। प्रियंका गांधी वाड्रा वायनाड से चुनाव लड़ेंगी, लेकिन मैं समय-समय पर वायनाड का दौरा भी करूंगा।
2019 में भी वायनाड से ही जीते थे राहुल गांधी
राहुल गांधी ने 2024 में वायनाड लोकसभा सीट से 3 लाख 64 हजार वोटों से जीत हासिल की थी, जबकि 2019 में भी दो सीटों से चुनाव लड़े थे. इसमें एक यूपी की अमेठी सीट थी जबकि दूसरी वायनाड सीट थी। अमेठी में राहुल गांधी को बीजेपी नेता स्मृति ईरानी के हाथों हार का सामना करना पड़ा था जबकि वायनाड की जनता ने राहुल पर विश्वास किया और उन्हें जीत का तोहफा दिया था। तब राहुल गांधी ने वायनाड सीट पर रिकॉर्ड 4 लाख 31 हजार 770 वोटों से जीत हासिल की थी।
