जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर यति नरसिंहानंद के पैगंबर मोहम्मद पर दिए गए विवादित बयान के बाद उत्पन्न हुए तनाव को लेकर CM योगी ने सख्त बयान जारी किया है। उन्होंने कहा कि जाति, धर्म, महापुरुषों और देवी-देवताओं पर की जाने वाली कोई भी टिप्पणी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। हालांकि सीएम ने यह भी कहा कि विरोध के नाम पर अराजकता भी बर्दाश्त नहीं की जाएगी, सभी मत, मजहब, सम्प्रदाय के लोगों को एक-दूसरे का सम्मान करना होगा।अगर किसी ने दुस्साहस किया तो कीमत चुकानी पड़ेगी।
किसी भी आस्था के साथ खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं
सीएम योगी ने त्योहारों के मद्देनजर मुख्य सचिव मनोज सिंह, DGP प्रशांत कुमार और अन्य अफसरों के साथ बैठक की। उन्होंने कहा- सभी मत, संप्रदाय की आस्था का सम्मान होना चाहिए। महापुरुषों के प्रति हर नागरिक के मन में कृतज्ञता का भाव होना चाहिए, लेकिन इसके लिए बाध्य नहीं किया सकता। जबरन किसी पर थोपा भी नहीं जा सकता। उन्होंने कहा कि कोई भी व्यक्ति अगर आस्था के साथ खिलवाड़ करेगा, तो उसे कानून के दायरे में लाकर कठोरता पूर्व सजा दिलवाई जाएगी।
कानून के खिलाफ कार्य करने वालों के साथ सख्ती से निपटें
सीएम योगी ने अफसरों को कड़े निर्देश देते हुए कहा कि कानून के खिलाफ कार्य करने वालों के साथ सख्ती से निपटें। नवरात्रि का पर्व शांति और सौहार्दपूर्ण माहौल के बीच संपन्न हो। यह प्रत्येक जनपद-प्रत्येक थाना को सुनिश्चित करना होगा। माहौल खराब करने वालों को चिह्नित कर कठोर कार्रवाई करें। इसके साथ ही महिला सुरक्षा सुनिश्चित करने के निर्देश देते हुए मुख्यमंत्री ने कहा- भीड़भाड़ वाले इलाकों में फुट पेट्रोलिंग और पीआरवी 112 की पेट्रोलिंग तेज की जाए। महिलाओं-बेटियों की सुरक्षा और सुविधा सुनिश्चित होनी चाहिए, इसके लिए सभी विभाग मिलकर काम करें।
महंत यति नरसिंहानंद ने आखिर कहा क्या था?
गाजियाबाद के हिंदी भवन में 29 सितंबर को आयोजित एक कार्यक्रम के दौरान डासना मंदिर के महंत यति नरसिंहानंद ने रावण और उसके भाइयों की तारीफ करते हुए पैगंबर मोहम्मद साहब और कुरान को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। बयान के बाद बुलंदशहर में गुस्साए लोगों ने जुम्मे की नमाज के बाद जमकर विरोध प्रदर्शन कर पथराव और नारेबाजी की है। रविवार को सहारनपुर में यति नरसिंहानंद के बयान के खिलाफ विरोध प्रदर्शन के दौरान हिंसा हुई। करीब 2,000 लोग सड़क पर उतर आए और शेखपुरा पुलिस चौकी पर पथराव किया।
