महाकुंभ मेले की तिथि बढ़ाने की सोशल मीडिया पर चल रही अफवाहों का प्रयागराज के जिलाधिकारी रविंद्र मांदड़ ने बड़ी अपील की है। डीएम रविंद्र मांदड़ ने मेले की डेट एक्सटेंशन की अफवाहों का सिरे से खंडन किया है। उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा है कि यह नितांत अफवाह है। महाकुम्भ मेले का जो शेड्यूल जारी होता है, वह मुहूर्त के हिसाब से जारी होता है और पहले से तय होता है। 26 फरवरी को निर्धारित तिथि पर ही महाकुम्भ का समापन होगा और तब तक जो भी श्रद्धालु आ रहे हैं, उन सभी के सुगम आवागमन को सुनिश्चित किया जा रहा है।
‘शासन और प्रशासन की तरफ से मेले की डेट के एक्सटेंशन का कोई प्रस्ताव नहीं’
प्रयागराज के DM रविंद्र मांदड़ ने कहा- मुख्यमंत्री के निर्देश पर सभी श्रद्धालुओं की सुविधा और व्यवस्था का पूरा ध्यान रखा जा रहा है। उन्होंने श्रद्धालुओं से अपील की है कि वह किसी प्रकार की अफवाह पर ध्यान ना दें, क्योंकि शासन और प्रशासन की तरफ से मेले की डेट के एक्सटेंशन का कोई प्रस्ताव नहीं है। उन्होंने कहा कि जो भी दिन शेष बचे हैं, इस दौरान लोगों के आने-जाने और आसानी से स्नान कराने के इंतजाम कराए जा रहे हैं। लोग संगम में स्नान करने के बाद वापस अपने गंतव्यों की ओर लौटें, इसका प्रबंध किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि ट्रैफिक मैनेजमेंट हमारी प्रियॉरिटी है। इस पर हम लगातार काम कर रहे हैं। प्रयागराज के आम जनजीवन को बिना प्रभावित किए श्रद्धालुओं के आवागमन का बैलेंस बनाकर काम किया जा रहा है।
कम नहीं हो रही है प्रयागराज में भीड़
फिलहाल महाकुंभ में अब सिर्फ 8 दिन बचे हैं, लेकिन श्रद्धालुओं की भीड़ कम नहीं हो रही। एक ओर सड़कों पर गाड़ियां रेंग रही हैं, दूसरी तरफ संगम में नावों का जाम लग गया। संगम आने वाले रास्तों पर लंबा जाम लगा है। पुलिस डायवर्जन के लिए टीन शेड लगा रही है। प्रयागराज की स्थिति ऐसी है कि मेन रोड के साथ गलियां भी फुल हैं। झूंसी की गलियों में पैर रखने की जगह नहीं है। हर तरफ लोग ही लोग नजर आ रहे हैं। पुलिस बाहर से आने वाली गाड़ियों को शहर में एंट्री नहीं दे रही है। शटल बस और ई-रिक्शा चल रहे हैं। लेकिन भीड़ ज्यादा होने से श्रद्धालुओं को संगम तक पहुंचने के लिए 10-12 किमी पैदल चलना पड़ रहा है।
