यूपी के बलरामपुर में धर्मांतरण व राष्ट्र विरोधी गतिविधियों के मास्टरमाइंड जमालुद्दीन उर्फ छांगुर की मधुपुर स्थित आलीशान कोठी पर मंगलवार को बुलडोजर गरजा। सुबह 10.30 बजे प्रशासनिक टीम ने इसे गिराने की कार्रवाई की शुरू की। जलालुद्दीन उर्फ छांगुर बाबा पर धर्मांतरण के साथ – साथ 100 करोड़ रुपये के अवैध कारोबार में लिप्त होने का भी आरोप है। प्रशासन के मुताबिक, कोठी अवैध निर्माण संपत्ति थी। भारी पुलिस बल की मौजूदगी में कार्रवाई की गई। तोपगंज इलाके में बाबा की कोठी पर बुलडोजर चलते हुए वीडियो वायरल है।
इसी कोठी से अपने काले सम्राज्य का संचालन था छांगुर बाबा
यह वही कोठी है जिसमें छांगुर बाबा, नवीन रोहरा और नीतू रोहरा के साथ रहता था और अपने काले साम्राज्य का संचालन करता था। सोमवार देर शाम स्थानीय प्रशासन ने कोठी पर अलग-अलग तिथियों की तीन नोटिस चस्पा की थी। इसके बाद ही लोगों ने कोठी के गिराने की प्रक्रिया शुरू कर दी। कोतवाली उतरौला की पुलिस व तहसील प्रशासन मौजूद रहे। इससे पहले सुबह 9.00 बजे भारी संख्या में पुलिस बल और प्रशासनिक अधिकारी छांगुर के आवास पहुंचे। प्रक्रिया पूरी करने के बाद करीब 10 बजे दो बुलडोजर बुलाए गए। लेकिन, मकान का गेट नहीं खुला। पुलिस ने गेट काटने के लिए गैस कटर मंगाया। इसके बाद गेट का लाक काटकर टीम और बुलडोजर घर के अंदर पहुंचे।
अवैध धर्मांतरण के काले कारनामा का करता था धंधा
दरअसल, बलरामपुर में छांगुर बाबा के अवैध धर्मांतरण के काले कारनामे उजागर होने के बाद पुलिस-प्रशासन भी हरकत में आ गया है। जांच-पड़ताल के दौरान पता चला कि छांगुर बाबा ने कोतवाली उतरौला क्षेत्र के मधपुर गांव में जो आलीशान कोठी बनवा रखी है, वह अवैध है। ये कोठी सरकारी जमीन पर बनाई गई है। छांगुर बाबा का असली नाम जलालुद्दीन शाह है और वह बलरामपुर के रेहरा माफी गांव का रहने वाला है। साल 2010 के पहले तक वह साइकिल पर नग, अंगूठी और टोने-टोटके का सामान बेचा करता था। लेकिन पिछले 15 सालों में छांगुर बाबा और उसके गिरोह ने विदेशी फंडिंग के जरिए करोड़ों की संपत्ति अर्जित की है। यूपी एटीएस के अनुसार, छांगुर बाबा के गिरोह ने 15 सालों में इस्लामिक देशों की लगभग 40 यात्राएं कीं और 40 से अधिक बैंक खातों में करीब 100 करोड़ रुपए हवाला के जरिए मंगवाए।
